शिवाजी नगर स्थित ई-115/21 में तैयार हुए दुष्यंत कुमार पाण्डुलिपि स्मृति संग्रहालय के नए भवन का लोकार्पण शनिवार को हुआ। इस दौरान कमलेश्वर की बेटी ममता त्यागी ने उनके द्वारा लिखित कहानी काली आंधी को संग्रहालय में संरक्षित करने के लिए सौंपी। यह कहानी कमलेश्वर ने 4 फरवरी 1974 को लिखी थी। जिस पर फिल्म आंधी का निर्माण किया जा चुका है। इसके अलावा यहां कवि हरिवंशराय बच्चन, दुष्यंत के पत्र भी देख सकेंगे। इस अवसर पर वरिष्ठ पत्रकार महेश श्रीवास्तव, अभिनेता राजीव वर्मा, दुष्यंत कुमार की प|ी राजेश्वरी त्यागी सहित बड़ी संख्या में कला एवं साहित्य जगत से जुड़े लोग उपस्थित थे।
1997 में एक कमरे से शुरू हुआ था संग्रहालय
इससे पहले दुष्यंत संग्रहालय साउथ टीटी नगर में स्थापित था। लेकिन स्मार्ट सिटी डेवलपमेंट की वजह से उसे नए स्थान पर स्थापित किया गया है। कार्यक्रम के दौरान संग्रहालय के निदेशक राजुरकर राज ने संग्रहालय के इतिहास से जुड़ी जानकारी दी। उन्होंने बताया कि 30 दिसंबर 1997 को निजी निवास के एक कमरे से संग्रहालय की शुरुआत हुई थी, जिसके बाद शासन द्वारा सितंबर 2005 में पहला सरकारी भवन आवंटित किया गया।
संग्रहालय में यह है खास
संग्रहालय में प्रमुख और वरिष्ठ साहित्यकारों की मूल हस्तलिखित पत्रों के साथ उनके दैनिक उपयोगी वस्तुएं ऑडियो रिकार्डिंग, टाइपरायटर को संग्रहित किया गया है। दुर्लभ ग्रंथ और पुस्तकें भी संग्रहालय की धरोहर में शामिल हैं।